वृन्दावन के बारे में रोचक तथ्य -
भारत के उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले में स्थित वृंदावन एक धार्मिक और पवित्र स्थान माना जाता है। वृंदावन का इतिहास बहुत ही पुराना है जिसका उल्लेख वेद और पुराणों में मिलता है। ऐसा कहा जाता है कि यह स्थान द्वापर युग में वृंदावन के नाम से जाना जाता था।
हिंदू धर्म के अनुसार भगवान कृष्ण ने अपना बचपन के दिन यही बिताए थे इसी जगह को प्रेम भूमि के नाम से भी जाना जाता है। यह हिंदू धर्म का एक प्रमुख तीर्थ स्थल है।
आईए जानते हैं वृंदावन के बारे में कुछ ऐसी रोचक तथ्य -
* वृंदावन का नाम वृंदावन क्यों पड़ा-
वृंदावन दो शब्दों से मिलकर बना है वृंदा यानी तुलसी यहां पर बहुत सारे तुलसी के पेड़ पाए जाते हैं, यहां बहुत अधिक मात्रा में तुलसी के पेड़ होने के कारण इसका नाम वृंदावन पड़ा है । यह तुलसी के पौधे हम सबके घरों में तो गमले में तुलसी होती हैं उससे कई गुना अधिक बबड़े पेड़ के रूप में यहां पर तुलसी के वृक्ष पाए जाते हैं।
* यहा बांके बिहारी के चरणों के दर्शन साल में केवल एक ही दिन अक्षय तृतीया के दिन होते हैं।
* वृंदावन के प्रसिद्ध रंग महल मंदिर से जुड़ी कई तरह की दंत कथाएं हैं, ऐसा कहा जाता है अगर कोई रात भर छिपकर वहां राधा कृष्ण के रास लील देखने की कोशिश करता है वह अगले दिन या तो अंधा हो जाता है या फिर पागल हो जाता है।
* वृंदावन के प्रसिद्ध रंग महल में भगत ठाकुर जी को सिंगार के विभिन्न सामग्री भेंट करते हैं जिसमें फूल, माला, चंदन इत्यादि अर्पित करते हैं वही भक्तों को प्रसाद के रूप में सुबह सिंगार का समान ही मिलता है ।
* वृंदावन में लगभग 5000 छोटे बड़े मंदिर है
* वृंदावन में श्री बांके बिहारी मंदिर में शंख नहीं बजाया जाता। ऐसी मान्यता है कि श्री बाँके बिहारी शांत और मधुर स्वभाव के देवता हैं। ऐसे में शखं की तेज धवनी उनके शांत वातावरण को भंग कर सकती है इसलिए यहां पर शंख नहीं बजाया जाता।
* वृंदावन का निधिवन अपनी अनोखी विशेषता के कारण बहुत ही प्रसिद्ध माना जाता है इसके बारे में बहुत सारी कहानियां हैं। भगवान श्री कृष्ण राधा रानी यहां के पेड़ों के बीच में रासलीला करते हैं जिसके कारण पेड़ों का रूप बदलता रहता है और जो तुलसी के बहुत बड़े पेड़ यहां पर पाए जाते हैं उनको गोपियों को रूप माना जाता है। धर्म के अनुसार ऐसा कहा जाता है जब राधा और कृष्ण दोनों नृत्य करते हैं तो गोपियों उनके ऊपर धुंधट की तरह पर्दा कर लेती है और यहां पर ज्यादातर तुलसी के पौधे झुके हुए हैं।
* वृंदावन में कई पवित्र कुंड और तालाब है जिनका धार्मिक महत्व है। ऐसा माना जाता है कि इनमें स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है और राधा कुंड के बारे में यह धार्मिक मान्यता है कि यहां पर जिन लोगों को संतान की प्राप्ति नहीं है यहाँ राधा कुंड में स्नान करने से संतान की प्राप्ति हो जाती है ।
* वृंदावन में गायों को बहुत ही पवित्र माना जाता है वहां पर बहुत सारी गौशाला हैं जहां पर गायों की सेवा की जाती है।
* वृंदावन में एक ऐसा मंदिर है जिसके खुलने और बंद होने का समय तय है । यहां ताला व चाबी का प्रयोग नहीं किया जाता। यह मंदिर भगवान की इच्छा से खुलते हैं और अपने आप बंद हो जाते हैं।
* वृंदावन में निधिवन ऐसा मंदिर है जिसमें भगवान श्री कृष्ण राधा का सिंगार सजाया जाता है और ऐसी मान्यता है की रात्रि में जाकर भगवान श्री कृष्ण राधा उसे सिंगार के समान का युज करते हैं। रोज सुबह वह सारा सामान अस्त व्यस्त मिलता है। यह बहुत सारे भक्त जनों ने सुबह मंदिर के कपाट खोलने बाद लाइव देखा भी है।
* वृंदावन यमुना नदी के तीन ओर से घिरा हुआ है।
* वृंदावन के राधा दामोदर मंदिर में भगवान श्री कृष्ण के पैरों के निशान पाए जाते हैं।
* वृंदावन को 5000 से अधिक पुराना है ऐसी मान्यता यह भगवान श्री कृष्ण और राधा का निवास स्थान माना जाता है लोगों की ऐसी धारणा है कि आज भी भगवान श्री कृष्ण और राधा देवी इस पवित्र सथान पर निवास करते हैं ।
* वृंदावन में हर दिन लाखों श्रद्धालु वृंदावन के मंदिरों के दर्शन करने के लिए आते हैं।
* वृंदावन में सबसे ज्यादा बंदर पाए जाते हैं।
* वृंदावन में प्रेम मंदिर लोगों के लिए खास अपनी और बहुत प्रभावित कर रहा है प्रतिदिन प्रेम मंदिर को देखने बहुत सारे श्रद्धालु लोग यहां आते हैं। यह मंदिर राधा और कृष्ण के उत्कृष्ट रूप से तैयार की गई मूर्तियों, कीमती रत्न और वस्तुऔ से सजी हैं जो भक्तों को अपनी ओर आकर्षित करते हैं । वृंदावन का यह प्रेम मंदिर राधा और कृष्ण के दिव्य प्रेम के बारे में यह खूबसूरत मंदिर अपने शानदार वास्तुकला और अध्यात्म के कारण दुनिया भर से भक्तों और पर्यटकों को आकर्षित करता है। जो लोग शांति और ज्ञान की तलाश में हैं वह इस मंदिर के दर्शन करने जरूर आते हैं। यह मंदिर बहुत सुंदर सफेद संगमरमर करके पत्थर से बनाया गया है।
* वृंदावन में रमन रेती एक ऐसी जगह पाई जाती है जहां पर लोग रेत में लेटकर स्नान करते हैं। लोगों की ऐसी मानना है कि अगर शरीर पर कहीं एक भी कण ऐसा लग जाए जो भगवान् कृष्ण को छुआ हुआ हो तो आपके जीवन के सारे दुख दूर हो सकते हैं । वृंदावन के लोगों का ऐसा मानना है कि यहां भगवान श्री कृष्ण इसी रेत में बचपन में खेला करते थे।
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